chana ko ankurit kaise kare ! चना को जल्दी कैसे फुलाये

 चना को अंकुरण (जर्मेनेशन) करने के लिए सबसे पहले चना (gram) को पानी में भिंगोया जाता है | उसे पानी में जब तक डुबाया जाता है , जब तक की वह चना पूरी तरह से फूल न जाये | चने को अच्छी तरह से फूलने के लिए , चना के सभी भाग को फूलना जरुरी होता है | चने का सभी भाग का नाम है | वीजा , टेस्टा पिग्मा और वीजपत्र इसके अलावा चने में जीव्रलीन हार्मोन्स का होना अनिवार्य है | इसके साथ - साथ चने को अंकुरण के लिए आद्रता (नमी), वायु और तापमान का होना बहुत जरुरी है | तभी चना अंकुरित हो पाती है | 

chana ko ankurit kaise kare
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चने को पानी में डालने के वाद चने की इन सभी भाग अगर बहुत अच्छी तरह से फूल जाता है तो ही चने में अंकुरण होना प्रारम्भ होती है | 

किसी भी विज को अंकुरण होने के लिए उस विज में हार्मोन्स का होना बहुत जरुरी होता है | अगर जिस विज में हार्मोन्स नहीं होता है , तो उस विज का अंकुरण संभव नहीं है | वह बीज अंकुरण हो ही नहीं सकता है | ऐसे में उस हार्मोन्स का नाम जानना वेहद जरुरी हो जाता है | चलिए अब समझते है की उस हार्मोन्स की नाम क्या है | उस हार्मोन्स का नाम है, जीव्रलीन हार्मोन्स इसके वारे में अब विस्तार से चर्चा करते है | चने के अंकुरण के लिए - चना भी एक तरह से विज ही है , उस विज में भी जीव्रलीन हार्मोन्स ही होता है | 

जिस चना में जीव्रलीन हार्मोन्स नहीं होगा, उस चना में अंकुरण नहीं हो पाएगी | चलिए अब समझते है चना को जल्दी कैसे फुलाये (chana ko ankurit kaise kare) इसके वारे में, सबसे पहले चने की हार्मोन्स को पता लगाना होता है की उसमे जीव्रलीन हार्मोन्स है या नहीं अगर, उस चने में जीव्रलीन हार्मोन्स है तो ठीक है | उसके वाद उस चने को पानी में डालकर बहुत अच्छी तरह से फुलाया जाता है | जब चने की सभी भाग जैसे - वीजा , टेस्टा , पिग्मा और वीजपत्र अगर फूल जाता है तो उस चने को पानी से बाहर निकालकर किसी ऊनि वस्त्र से ढक दिया जाता है | उसके वाद उस कपड़े पर हल्का - हल्का पानी का छिड़काव किया जाता है | जिसे उसे नमी (आद्रता) मिल सके | आद्रता के साथ - साथ उसे तापमान और वायु की भी जरुरत होती है | जो उसे कमरे की तापमान से उसकी Requirement तापमान और वायु की पूर्ति हो जाती है | इस प्रकिर्या (processes) में चने 12 घंटे की अंदर अंकुरण होना प्रारम्भ हो जाती है | 

चने को खाने के लिए (chana ko ankurit kaise kare) 

चने को अंकुरित करने के लिए उसे सबसे पहले उसकी हार्मोन्स चेक करे | उसकी हार्मोन्स का नाम है जीव्रलीन उसके वाद उसे पानी में इतना भिंगोया की उसकी सभी भाग जैसे - वीजा , टेस्टा , पिग्मा और वीजपत्र बहुत अच्छी से भींग जाये | उसके वाद उसे नमी (आद्रता) कमरे की तापमान और वायु दे | इस प्रोसेस में चने से 12 घंटे के अंदर अंकुरण निकल आयेगी | 

चने को हम कई तरिके से खा सकते है जिसे हमारी शरीर की ऊर्जा मिले एवं शारीरिक विकाश हो | चाहे हम सब्जी के रूप में खाये या फिर भूंजा के रूप में खाये | ऐसे में ही चना खाने का एक और तरीका है जो काफी प्रचलित है वह तरीका है | चने को अंकुरण करके खाना | अब समझते है चने को खाने के लिए कैसे अंकुरित करे इसके वारे में (chana ko ankurit kaise kare) सबसे पहले चना को पानी में खूब फुलाये इतना फुलाये की उसकी सभी भाग अर्थात वीजपत्र तक बहुत अच्छी से फूल जाये | उसके वाद उस चने को पानी से बाहर निकाल ले , फिर उस चने को अंकुरण करने के लिए हमें एक सूती कपड़ा का एक टुकड़ा चाहिए | उस कपड़े में उसे लपेट कर रख दे और फिर धीरे - धीरे उस कपड़ा पर हल्का - हल्का पानी का छिड़काव करते रहे इससे ये होगा की कपड़ा भींगा रहेगा | जिसकी वजह से उसमे लपेटा हुआ चना को तरी एवं नमी (आद्रता) मिलते रहेगी | इस प्रोसेस में उस चने को कमरे के तापमान भी आसानी से मिल जाती है | क्योकि चना को अंकुरण करने के लिए उसे घर में ही रखते है | जिसकी वजह से उसे तापमान और वायु आसानी से मिल जाती है जो किसी भी विज के अंकुरण के लिए आवश्यक होती है | इस प्रकिर्या में चना लगभग 12 घंटे के अंदर अंकुरण होना प्रारम्भ हो जाती है | अर्थात चना अंकुरित हो जाती है | 

chana ko kaise khana chahie (अंकुरित चना कैसे खाये)

चना एक ऐसी खाद्य पदार्थ है जिसे खाने के लिए सलाह हर कोई व्यक्ति या डॉ ० देते है | इसे खाने से शरीर की उन सभी requirements पोषक तत्व आसानी से पूरी हो जाती है , जो बॉडी की आवश्यकता होती है | चलिए अब समझते है चना को किस - किस तरिके से खा सकते है | इसके वारे में , आप चने को जिस भी रूप मे खाये आपकी सेहत के लिए काफी फायदे मंद होगी | चाहे आप उसे फुलाकर खाये या फिर अंकुरित करके ,या फिर उसे सब्जी बनाकर खाये या भूंजा भूनकर सतु के रूप में खाये या फिर वेसन के रूप में सब्जी में डालकर | ये आप किसी भी रूप में खा सकते है | आपकी शरीर की काफी फायदा मिलेगी | 

चना को खाने का सबसे आसान तरीका है , उसे अंकुरण करके खाना | चने को अंकुरित करके कैसे खाये इसके वारे में विस्तार से जानते है | सबसे पहले चने को अंकुरित करे , उसके वाद उसे गुड़ के साथ खाये भूंजा के तरह अब जानते है दूसरा तरिके के वारे में अंकुरित चने को आप झालमुड़ी के रूप में खा सकते है | झाल मुड़ी किस प्रकार बनाया जाता है जो इस प्रकार है | 
झाल मुड़ी 
झाल मुड़ी बनाने के लिए अंकुरित चना चाहिए , इसके अलावा टमाटर , प्याज , और फरही चाहिए | इन सभी चीजों को छोटे - छोटे काटकर चने के साथ मिक्स करे और उसमे हल्का नमक , तेल मिक्स मशाला और नीबू निचोड़कर डाले उसके वाद उसे अच्छी तरह से मिक्स करके खाये | इस तरिके को झाल मुड़ी कहा जाता है जो बिहार के फेमश ब्रेकफास्ट होती है | 

अँकुरित चना और गुड़ खाने के फायदे (जो अक्सर खिलाड़ी और धावक खाते है ) उन्हें इसे खाने से ग्लूकोज और कैलोरिन भरपूर मात्रा में मिलती है | 

अंकुरित चना और गुड़ खाने से आदमी के शरीर को उन तमाम ऊर्जा (energy) मिल जाती है | जो एक धावक को दौड़ लगाने के लिए मिलती है या खिलाड़ी को खेल के समय जो ऊर्जा खपत होती है वह ऊर्जा अंकुरित चना और गुड़ खाने के वाद उन्हें मिल जाती है | इसीलिए हम कह सकते है की अंकुरित चना और गुड़ खाने के बहुत फायदे है | अंकुरित चना खाने से उन्हें कैलोरिन भरपूर मात्रा में मिल जाती है | और गुड़ से ग्लूकोज (C6H12O6) जो शरीर के वर्क करने के लिए सबसे उत्तम ऊर्जा होती है | इसीलिए हर कोई व्यक्ति अपने वर्क पर जाने से पहले वह अंकुरित चना और गुड़ का सेवन अवश्य करता हैं | जिसे उन्हें स्फूर्ति एवं ताजगी महसूस हो और अपने कार्य को ठीक ढंग से कर सके | इसीलिए मालिक अपने workers को कार्य पर जाने के तुरंत थोड़ी देर वाद उन्हें अंकुरित चने और गुड़ का सेवन अवश्य कराता है | जिसे उन्हें कार्य करने में ज्यादा दिकत की सामना न करना पड़े | अंकुरित चना और गुड़ खाने के यही फायदे है जो workers  के लिए जो सबसे अच्छा नाश्ता (breakfast) होती है | अब जानते है अंकुरित चना के सब्जी कैसे बनाये , इसके वारे में || 

अंकुरित चना के सब्जी कैसे बनाये | 

अंकुरित किया हुआ चान से सब्जी बनाने का सबसे आसान तरीका है की आप सबसे पहले अंकुरित किया हुआ चने को तेल में प्याज डालकर उसे भुने उसे इस प्रकार भुने की वह उसी समय वह अंकुरित किया हुआ चना सिझ जाये उसके बाद उसे बहार निकालकर किसी प्लेट में रख ले | उसके बाद सब्जी बनाने के लिए ग्रेवी तैयार करे | तैयार किया हुआ ग्रेवी में उसे भुने हुए चने को डालकर उसे डभकाये | जब वह अच्छी तरह से डभक जाये तव अंकुरित किया हुआ चना से सब्जी बनकर तैयार हो जायेगी | उसके वाद आप उसे चाहे जिस रूप में खाये यह सब्जी बहुत स्वादिष्ट लगेगी चाहे आप भात के साथ खाये या फिर रोटी के साथ | यह सब्जी किसी भी तरह से खाये यह बहुत स्वादिष्ट लगेगी | 

अंकुरित चना कब खाना चाहिए ?

चना एक ऎसी खाद्य पदार्थ है जिसे खाने के लिए कोई भी समय सिमा निर्धारित नहीं है | अंकुरित चना को खाने के लिए  किसी भी उर्म के आदमी हो वह सब के सब अपनी छमता के अनुसार खा सकते है | क्योकि अंकुरित चना यह भारी भोजन के रूप में इसकी गणनना की जाती है | क्योकि इसमें फाइबर की मात्रा अधिक होती है , और इसे खाने से ऊर्जा अधिक मात्रा में मिलती है | यही वह वजह है की किसी भी उर्म के महिला एवं पुरुष इसे अपने छमता के अनुसार खा सकते है | 

अंकुरित चना खाने के वाद वह व्यक्ति अगर किसी भी कार्य को करते है तो वह व्यक्ति लम्बे समय तक लगातार उस कार्य को करते रह जाते है | क्योंकि उन्हें भूख लगने की अनुभूति नहीं होती है | और उनके बॉडी को उन तमाम ऊर्जा मिल पाता है जिसे वह लम्बे समय तक बिना भोजन किये रह सके | 

अंकुरित चना खाने का सही समय होता है सुबह 8 या फिर दोपहर 2 बजे क्योकि इस समय आदमी को काफी तेजी से भूख लगती है | उसकी जगह अगर वह व्यक्ति अंकुरित चना खा लेती है तो उनका भूख मिट जाती है , और वह अपने कार्य को लगातार करते रह जाते है | ठीक उनका कार्य बहुत जल्दी एवं अधिक हो जाती है | 


अंकुरित चना उन लोगो को भी खाना चाहिए जिन लोगो का शरीर दुवला - पतला होता हो, उन लोगो को अगर अपनी शरीर को ठीक - ठाक हेल्थी बनाना चाहते है तो उन लोगो को अंकुरित चना खाने का सलाह अवश्य दे | क्योंकि उनका स्वास्थ्य ठीक रहने के लिए शरीर का हेल्थी होना आवश्यक है | और वह अंकुरित चना खाने से ही संभव है | इसके अलावा अंकुरित चना उन लोगो को भी खिलाये जिनका शरीर गिरा - गिरा सा रहता है क्योकि अंकुरित चना खाने से शरीर में खून एवं न्यूट्रेशन बनता है | 

अंकुरित चना खाने के फायदे 

चना एक ऎसी खाद्य पदार्थ है जिसे अगर आप नियमित रूप से खाते है तो आपकी शरीर की कई सारे फायदे होती है | ऐसे में चने खाने का एक और तरीका है , जिसका नाम है अंकुरित चना | अगर आप अपने बॉडी की महत्वपूर्ण अंग जैसे - आँख , फेस , वाल ,त्वचा इत्यादि जैसे अंग को स्वास्थ्य एवं सुन्दर रखना चाहते है तो आप अपने दैनिक भोजन में किसी भी रूप में अंकुरित चना का सेवन जरूर करे | चाहे आप सब्जी के रूप में करे या फिर सलाद के रूप में या फिर झालमुड़ी  के रूप में खाये | 

अंकुरित चना खाने से आपकी सर की वाल नहीं उड़ेगी एवं (White) नहीं होगा | क्योकि चना खाने से आपकी शरीर में उपस्थित टॉक्सिन को मल त्याग के द्वारा उसे बाहर देते है | क्योकि उसमे फाइबर की मात्रा अधिक होती है | जिसकी वजह से शरीर के आंतरिक भाग का सफाई आसानी से हो जाती है | 

इसके आलावा और भी कई सारे फायदे होती है जो इस प्रकार है , यह अंकुरित चना 
1. डाइजेशन को कम करती है
2.  यह डायविटीज बीमारी के लिए भी अच्छा है | 
3. Blood sugar को कंट्रोल करती है |
4. Weight losses को रोकती है |

 इसके आलावा और भी कई सारे फायदे होती है, शरीर के लिए अंकुरित चना खाने से | जो व्यक्ति अपने daite में प्रत्येक दिन अंकुरित चना खायेगा , उनका शरीर की (स्किन , त्वचा में सौंदर्य एवं चमक बढ़ जाएगी | और उनका ब्रेन (दिमाग) भी काफी तीव्र गति से कार्य करेगा | उनका यादास्त भी काफी बढ़ जाएगी , और आँख की रोशनी भी जिसे उन्हें Life Style की जिंदगी जीने में काफी आनंद की अनुभूति होने लगती हैं | और वह व्यक्ति कोई भी कार्य करेगा , तो वह बहुत स्फूर्ति से करेगा | क्योंकि वह व्यक्ति हमेशा ताजगी महसूस करते रहते है | 

अंकुरित चना खाने के नुकशान 

प्रोट्रीन , फाइबर और कार्वोहाइड्रेट जैसे पोषक तत्वों से भरपूर चने में प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ाने की क्षमता होती है | साथ ही साथ मांसपेसियों को मजबूत करने , मधुमेह को नियंत्रित करने और वालों , त्वचा व् शरीर को ऊर्जावान बनाये रखने आदि के लिए भी लाभदायक है | अंकुरित चना खाने से इसके अविश्वसनीय स्वास्थ्य   लाभ हो सकते है | 
लेकिन ज्यादा अंकुरित चना खाने के भी वेहद नुकशान हो सकते है | दरअसल एक्सपर्ट का मानना है की ज्यादा अंकुरित चना खाना भी सेहत के लिए नुक्शानदायक हो सकता है | आम तौर पर कई लोगो को बारिश में अंकुरित चना पच नहीं पाता है | क्योकि इसके पीछे कई सारे कारन होते है | कुछ मामलो में देखा गया है की जिनकी पाचन शक्ति थोड़ी कमजोर होती है | उन्हें चना खाने पर उनके पेट में चना गड़बड़ करती है | चना एक प्रकार का भारी भोजन है | कमजोर पाचन तंत्र वालो को इसे सम्भलकर और कम मात्रा में खाना चाहिए | काले चने से ज्यादा अंकुरित चना को पौष्टिक माना जाता है | क्योकि उसे काफी देर तक पानी में भिंगोने से इसमें नमी बने रहते है | जिसे इसमें कई तरह के जीवाणु पैदा हो जाते है | जो पेट की समस्या के कारन बन सकते है | 

इस दौरान लोगो में उल्टी दस्त आदि होने की सम्भाबनाएँ बढ़ जाती है | इसमें मौजूद अधिक फाइबर की मात्रा  ऎसे भी डायरिया की समस्या को बढ़ाने में मददगार है | अर्थात बारिश के मौषम में जो कमजोर पाचन तंत्र वाले लोगो को और प्रेग्नेंट महिलाओ को इसे खाने से बचना चाहिए | अगर हम वात करे अंकुरित चने के सही तरके के वारे में तो अगर इसे खाने से आपके पेट में दर्द होने लगता है तो इसमें थोड़ा टमाटर , खीरा , प्याज आदि मिलाकर सेवन करे | स्वाद के साथ - साथ सेहत के लिए भी लाभकारी होगा |

अंकुरिचाने को थोड़ा उबालकर या भून कर हल्का भी खा सकते है | प्रतिदिन एक कटोरी अंकुरित चना खाने से काफी लाभकारी हो सकता है | ऐसा करना डायविटीज मरीजों के लिए बहुत फायदेमंद है | अंकुरित चने को गुड़ के साथ प्रतिदिन सुवह खाली पेट खाने के कई स्वास्थ्य लाभ होते है | शरीर में ऊर्जा भरने , खून की कमी को दूर करने , मासपेशियो को बढ़ाने पाचन तंत्र आदि के लिए रामवाण इलाइज है | अगर आप अंकुरित चना खाते है तो इन वातो का खास ध्यायन रखे नहीं तो नुकशान भी हो सकता है | 

Conclusion ! निष्कर्ष

चना एक ऎसी खाद्य पदार्थ है जिसे खाने के लिए उसे अंकुरण किया जाता है | उसके वाद उसे खाने से शरीर को काफी फ़ायदा मिलता है | चाहे आप उसे सब्जी बनाकर खाये या फिर उसे गुड़ के साथ खाये या फिर उसे भूनकर खाये | आप उसे किसी भी रूप में खाये आपको काफी फ़ायदा मिलेगी | चना खाने का सबसे अच्छा तरीका है उसे अंकुरण करके खाना | चलिए अब समझते है की चने को कैसे अंकुरण करे इसके वारे में | 

चने को अंकुरित करने के लिए सबसे पहले उसे खूब फुलाये उसके वाद उसे पानी से निकालकर सूती वस्त्र से ढक कर रखे | उसके वाद उसपर पानी का हल्का -हल्का छिड़काव करते रहे , इससे ये होगा की उसे तरी बनी रहेगी | और उसे वायु और तापमान भी मिलते रहेगी | इससे ये होगा की चना को अंकुरण के लिए जो उसे चाहिए वह सब के सब उसे मिल जाती है | जैसे - तापमान , वायु और नमी (आद्रता) जिसके कारन वह चना १२ घंटे के अंदर अंकुरण होना प्रारम्भ हो जाता है | 

अंकुरण किये हुए चने को आप किसी भी रूप में खा सकते है | आपकी बॉडी को काफी फ़ायदा मिलेगी , चाहे आप उसे गुड़ के साथ खाये या फिर उसे झाल मुड़ी बनाकर खाये आप चने को किसी भी रूप में अपने भोजन में ले सकते है | चाहे वेषण के रूप में या सब्जी के रूप में उसे खाये | 

अंकुरित चना खाने से शरीर में कई सारे फायदे होती है | जैसे आँख , फेस , वाल , त्वचा इत्यादि | ये सभी अंग सुंदर एवं स्वास्थ्य रहती है | अंकुरित चना खाने से इसके आलावा और भी कई सारे फायदे होती है | अब जानते है अंकुरित चना के नुकशान के वारे में , जिस व्यक्ति की पाचन क्रिया कमजोर होती है | उन्हें अंकुरित चना बहुत सोच समझकर खाना चाहिए | नहीं तो आपकी पेट को खरा व कर देगा यानि दस्त , पैखाना होना सुरु हो जाएगी | जो अंकुरित चना के नुकशान है | 

अंकुरित चना भी खाने का नियम होती है - अगर आप कोई हार्ड वर्क करने जा रहे है तो आप अंकुरित चना खाकर जाये | इससे ये होगा की हार्ड वर्क में ऊर्जा काफी तेजी से खपत होती है , अगर आप अंकुरित चना खाये हुए रहेंगे तो आपको भूख और प्यास कम लगेगी | और आप अपना कार्य को सही से एवं देरी तक करते रह पायेंगे | जिसे आपकी कार्य ज्यादा हो सके |   

क्योकि अगर आप अंकुरित चना और गुड़ खाते है तो आपको इसमें चना से कैलोरिन मिल जाता है और गुड़ से ग्लुकोज जो एक धावक के लिए बहुत जरुरी खाद्य पदार्थ है | ऐसा इसलिए हम कह रहे है की खिलाड़ी खेल में जाने से पहले ग्लूकोज जरूर लेता है | ठीक उसी प्रकार धावक एवं कृषक भी अपने कार्य पर जाने से पहले गुड़ और चना लेते है जिसे उन्हें ग्लूकोज और कैलोरिन आसानी से मिल जाती है | 



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